मेरी चालू दीदी का मचलता हुस्न-1

(Meri Chalu Didi Ka Machalta Husn- Part 1)

हुज़ैफ़ा 2020-01-11 Comments

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मेरे घर में हमारे मॉम डैड के साथ हम दो भाई और दो बहनें हैं. मैं दिल्ली में पढ़ता हूँ.

अपनी अविवाहित बहनों को देख कर मैं अकेले में सोचता था कि मुझसे खुद सेक्स के बिना नहीं रहा जाता, तो मेरी दीदी लोग कैसे रहती होंगी. मुझसे छोटी बहन के लिए तो उसके कम उम्र का होने के कारण उसे में नजरअंदाज कर देता था कि चलो अभी तो ये 23 की ही है, पर बड़ी दीदी तो 30 साल की होने जा रही थीं.

मेरे डैड मॉम को भी कोई चिंता नहीं थी कि बेटी की शादी करनी है. इधर मैं अपनी बड़ी दीदी की बात लिख रहा हूँ. मैं आज बस उसकी बात ही करूंगा, छोटी बहन की बात फिर कभी करूंगा. क्योंकि एक सेक्स स्टोरी में उतना मसाला आएगा ही नहीं ना.

दोस्तो, अगर मेरी दीदी की बात की जाए, तो वो एकदम फिल्म हिरोइन तब्बू की तरह लगती थी. वो थोड़ी भरी हुई थी … मतलब उसका यही कोई 65 किलो वजन था.

दीदी को ब्रा-पैंटी में देखना, तो मेरे लिए एक साधारण सी बात थी. जब हम सभी एक ही घर में रहते थे, तो मैंने उसे कई बार छिप कर टू पीस में देखा था.

उसके जिस्म के साइज़ की बात करूं, तो दीदी की ब्रा की साइज़ 95 सेंटीमीटर की और पैंटी शायद 100 सेंटीमीटर की थी. जी हां … उसकी साइज़ इतनी बड़ी ही थी, मैं वो बताया ना कि दीदी काफ़ी भरी हुई थी. इसलिए उसका हर आइटम बड़ा था.

दीदी काफ़ी हंसमुख मिज़ाज़ की थी. उनका नाम ऋतु था. मेरी ऋतु दीदी को सबसे मज़ाक करना, हमेशा हंसते रहना आदत थी. ज़्यादातर वो सलवार सूट में रहती थी. मैंने कई बार दीदी के गहरे गले से दिखती हुई मस्त क्लीवेज को भी देखा, उनको आधा नंगा भी देखा था. नहाते हुए भी देखा, पौंछा लगाते हुए भी देखा. कपड़े चेंज करते हुए भी देखा था.

मुझे लगने लगा था कि कहीं ना कहीं दीदी भी शरीफ़ नहीं थी. उसका हमेशा गाना गाते हुए सेक्सी स्माइल देना इधर उधर दौड़ना. कपड़ों का कोई ख्याल नहीं रखना होता था.

वो मेरे साथ कई बार पकड़म पकड़ी का खेल खेलती थी. मैंने इसी खेल में एक बार उसके मम्मों पर हाथ रख दिए थे. शुरुआत में मैंने बस दीदी के मम्मे छुए थे, जब उसकी तरफ से कुछ नहीं हुआ, तो अगली बार मैंने काफ़ी देर तक वहां हाथ रखा.
पर दीदी को इससे कोई प्राब्लम नहीं थी. मैं ऐसा अक्सर करने लगा था. उसने कभी कुछ नहीं कहा.

मेरे दोस्त लोग मुझ पर कॉमेंट करते थे- यार, तेरी दीदी तो काफ़ी हॉट माल है … बिना शादी के कैसे रह लेती है?
कोई बोलता- यार सारी भूमिहार लड़कियां ऐसी ही होती हैं. पहले सारी जवानी अपने घर में रिलेटिव से, या ब्वॉयफ्रेंड से चुसवा लेती हैं, तब ही शादी करती हैं … देख नहीं रहे हो तेरी बहन 30 की हो गयी है, कोई टेंशन ही नहीं है.

जिस दोस्त ने ये बात कही थी, उसकी ये बात सुनकर मुझे कुछ अज़ीब सा लगा.
मैंने गंभीरता से सोचा तो मुझे उसकी बात में सच नज़र आया. फिर मैं बाहर पढ़ने चला गया.

अब चूंकि मैं ज्यादा घर पर रहता नहीं था. मैं दिल्ली में रह कर पढ़ाई करने लगा था … तो घर में क्या होता था, मुझे कुछ पता ही नहीं था.

एक बार अपने दोस्त की बात याद करके मैंने सोचा कि क्या पता मेरे दोस्त की ये बात सच हो कि ऋतु दीदी का किसी से घर में ही कोई चक्कर हो … या उसका कोई ब्वॉयफ्रेंड हो. मैं सोचता रहा. मुझे अपने सवाल का जबाव कभी हां में मिला … कभी ना में मिला.

फिर अंत में मैं मानने लगा कि हां ऐसा ही होगा. यार-दोस्तों की बात मेरे कानों में गूंज रही थी.

अब मैं जब भी घर जाता, तो उस पर कुछ नज़र रखने लगा था. जैसे उसके मोबाइल फेसबुक आईडी, ईमेल आईडी, उसके चाल चलन जैसी बातों पर मेरी नजर रहने लगी.

मैंने उसकी जांच पड़ताल उसके ऑनलाइन सोशल मीडिया के जरिये करना सोची. पर मुझे उसकी किसी भी आईडी का पासवर्ड आदि नहीं पता था. तब ये मेरे लिए कुछ मुश्किल हो गया था. फिर मैंने फेसबुक पर अपनी एक फेक आईडी से दीदी का फ्रेंड बन कर उसकी अपलोड की हुई सारी फोटो को चैक करने की सोचा कि कोई क्लू तो मिले. उसकी पोस्ट पर कमेंट पढ़ने से भी कुछ आइडिया आ सकता था.

मैंने वही किया, दीदी की फेसबुक आईडी में लगभग 227 फोटो थे, मैंने सारे चैक करना शुरू किया … और सब फोटोज पर आए हुए कॉमेंट पढ़ने लगा.

बहुत देर ऐसा करने पर मुझे लगा कि एक लड़का है, जो काफ़ी भद्दे किस्म के कमेंट्स कर रहा है. उसने दीदी की लगभग हर फोटो को लाइक किया था और कॉमेंट भी किया था.

तभी मैंने दीदी की एक सहेली का कमेंट्स पढ़ा- हां यार, शिवम तो तेरा ही है. तूने उसको न जाने क्या नशा पिला दिया है कि वो तेरे सिवा किसी को देखता ही नहीं है.

अब मैंने शिवम की प्रोफाइल को खोला. ये वही लड़का था … जो दीदी की हर पोस्ट पर कमेंट्स करता था. मुझे क्लू मिल गया कि वो शायद दीदी का ब्वॉयफ्रेंड है.

मैंने आगे और भी पता लगाया, तो मुझे पता चला कि दीदी करीब 6 साल से उस लड़के से चुद रही है. इतना ही नहीं, अभी तक दीदी के 8 ब्वॉयफ्रेंड रह चुके थे. दीदी अपने कॉलेज में सबसे ज़्यादा सेक्सी लड़की और छिनाल के नाम से फेमस थी. ये बात मुझे उसके एक फ्रेंड से चैट करने पर पता चली. काफ़ी रिसर्च के बाद सारी बात मुझे मालूम हो चुकी थी. वो सब लिखूंगा, तो आप बोर हो जाओगे.

इसी दौरान मुझे एक और बात पता चली कि दीदी अमन भैया से भी चुदती है … और मेरे एक मामा के लड़के से भी उसका शारीरिक रिश्ता है. अमन मेरे बड़े भैया हैं … और अमन भैया ने ही दीदी पर शादी ना करने का दबाव डाल रखा है. वैसे दीदी का भी मन इतनी जल्दी शादी करने का नहीं था. मुझे कुछ समझ नहीं आ रहा था कि ये सब क्या है.

फिर एक दिन मेरी दीदी की एक सहेली से चैट हुई. उससे मैंने अपनी असली आईडी से बात की थी.

वो लड़की बोली- तुम यहां नहीं रहते ना … सो तुम्हें कुछ पता नहीं है … तेरी दीदी की चुचियां क्या ऐसे ही इतनी बड़ी हो गईं. उसकी गांड को देखा है. एक औरत की गांड बड़ी क्या ऐसे ही हो गई. वो लगभग दो लोगों से रोज चुदती है. एक तो तेरे भैया तो उसे रोज चोदते ही हैं. रात को तेरी दीदी भैया की बीवी ही बनकर रहती है.

मैंने उसी से पूछा- दीदी ऐसा क्यों कर रही है … एक ब्वॉयफ्रेंड ठीक है यार. … पर भाई से और 8 ब्वॉयफ्रेंड से चुदवाना … ये तो रंडीपना हो गया न!
वो बोली- तेरी बहन में काफ़ी सेक्स भरा है … उसे रोज लंड चाहिए. इसलिए उसने कॉलेज आते ही चुदना शुरू कर दिया. कभी कभी तो तेरी दीदी हम लड़कियों के साथ ही शुरू हो जाती है. वो कई बार तो मेरे मम्मों को ही दबाने लगी थी.

मैंने उसकी बात पर हैरानी जाहिर की कि दीदी अमन भैया के साथ कैसे सैट हो गई.

तो वो मुझे बताने लगी- हुआ यूं कि तेरी दीदी, सोनाली नाम की एक लड़की के साथ पूरी नंगी होकर पता नहीं क्या क्या करने लगी थी. ये बात तुम्हारे भैया को पता चली, उनको कुछ प्रूफ भी मिला. उसके बाद से अमन भैया ने उसे डराना शुरू कर दिया. इसी तरफ से वो अमन भैया से सैट हो गई.
ये तो काफ़ी पुरानी बात हो गयी. लगभग 6 साल हो गए. अब तो ऋतु को अमन भैया से चुदवाने में कोई दिक्कत नहीं है. वो मज़े से चुदवाती है. ये बात मुझे ऋतु ही ने बतायी थी पहले तो उसने भैया से ना बोली थी. मगर भैया ने उसे अपनी हवस का शिकार बना ही लिया था. फिर तेरी दीदी ने भैया से एक ही शर्त रखी थी कि उसे बाहर जितने ब्वॉयफ्रेंड चाहे बनाने दो … भैया कुछ नहीं बोलेंगे.
बस उसी दिन भैया रोज रात को दीदी को पूरी मस्ती से रौंदते हैं … लंड पेलते हैं. इसलिए ना तेरे भैया शादी करना चाह रहे हैं … ना तेरी दीदी की शादी होने दे रहे हैं.

मैं दीदी की इस सहेली के मुँह से ये सब सुनकर हैरान था.

फिर वो आगे बोली- अगर तुझे भरोसा नहीं हो, तो देख लेना. तेरी दीदी टयूशन देने जाने के नाम पर रोज 4 बजे से 7 बजे तक कहां जाती है, तुम खुद पता करो. उसे रात में 2 बजे भी देखना, वो कहां जाती है. एक नींद लेने के बाद वो अमन भैया के कमरे में चुदने जाती है.

इस तरह की बात जानने के बाद मैं मन में ठान लिया था कि अब मैं खुद ही ये सब चैक करूंगा और सब कुछ पहले मैं अपनी आंख से ही देखूंगा कि इन बातों में कितना सच है.

मैं उस दिन घर आ गया और रात होने का इंतजार करने लगा. उस शाम को खाना खा कर भैया अपने रूम में चले गए और मॉम डैड अपने रूम में घुस गए. दीदी और छोटी बहन अपने रूम में जाकर सो गईं. मुझे 2 बजे का इंतजार था. मैं बाईब्रेशन पर मोबाइल सैट कर दिया और अलार्म लगा कर सो गया.

मैंने रात को 1:30 का अलार्म लगाया हुआ था. जब अलार्म बजा, तो मैं उठा और देखा कि सब सोए हैं. मैं इन्तजार करता रहा.

ठीक 2 बजे मुझे जो नजारा दिखा, तो मैं हैरान रह गया. मैं मन में सोचने लगा माय गॉड … कोई टाइम का इतना पक्का कैसे हो सकता है.

मैंने दीदी को भैया के रूम में जाते देखा. अब मुझे कोई अच्छी सी जगह चाहिए थी. घर के अन्दर से झांकना सेफ नहीं था. कहीं कोई देख लेता, तो गड़बड़ हो सकती थी. मैं घर के पीछे गया. वहां से एक ड्रम रखा था. उससे वेंटीलेटर तक पहुंचा जा सकता था. मैंने वहां तक जा कर देखना चाहा कि अन्दर क्या हो रहा है.

मैंने वहां अपनी आंख लगा दी. भैया अलसाए से मूड में बेड पर लेटे थे. दीदी नाइटी पहने उनके बगल में बैठी थी. वो काफ़ी सट कर बैठी थी. इसी से मुझे इतना तो विश्वास हो गया कि मेरी बहन छिनाल है और उसकी फ्रेंड की सारी बातें सच हैं.

तभी मुझे उन दोनों की आवाज़ सुनाई देने लगी. दीदी बोल रही थी- जान उठो ना … जल्दी करो … मुझे फिर सोना भी है.
भैया बोले- मेरी बीवी. … तू तो मेरी जान है … मेरी वाइफ है … तू जो कहेगी, मैं करूंगा.
दीदी ने मुस्कुराने लगी.

भैया- तो जान आज शिवम से चुदी थी या नहीं?
दीदी- क्या करूं … तुम तो जानते ही हो मेरे अन्दर कितनी आग है, तुम तो रात को आते हो, तब तक मेरी चुत को ठंडा करने को कोई तो चाहिए.
भैया बोले- कोई बात नहीं … तू चुदती रह … जिससे मर्ज़ी लंड लेती रह. बस रात को मेरी रखैल बन जाया कर.

दीदी बोली- तुम मुझे 6 साल से तो अपनी रखैल बना कर रखे ही हो. मैंने कभी मना किया क्या?
भैया- बस 2 साल और रुक जा … तुझसे मन नहीं भरा अभी. फिर तेरी शादी करा दूँगा.
दीदी बोली- प्लीज़ भैया अभी नहीं. अभी मुझे जवानी के और मज़े लेने हैं मुझे 4-5 से और चुदने दो, फिर मैं शादी कर लूँगी.

मुझे विश्वास नहीं हो रहा था कि दीदी ऐसी है … और उसका भाई उसकी ये बातें सुन रहा है.

भैया बोले- ठीक है तू दो साल और मजे कर ले … जितना करना है … कर ले. फिर तेरी शादी की भी देखना है. नहीं तो तुझसे बाद में कौन शादी करेगा.
दीदी बोली- आप कर लेना!
भैया- मैं कर तो सकता हूँ. तुझे चोद तो रहा ही हूँ … तो तेरा पति ही हुआ ना. पर क्या है ना कि समाज जीने नहीं देगा. जब चुपके से काम हो रहा है, तो ढोल पीटने की क्या ज़रूरत है.
दीदी बोली- हम्म … ये तो है.

अब दोनों ने किस करना शुरू कर दिया था. दीदी तो मानो भैया पर चढ़ ही गयी थी. भैया दीदी अपने एक हाथ से दीदी के मम्मों को नाइटी के ऊपर से ही दबा रहे थे और दीदी भैया की पीठ सहला रही थी. साथ में वो भैया को जोरदार किस भी कर रही थी. एक हाथ से भैया के बाल सहला रही थी.

इसके बाद दीदी ने भैया को नीचे गिरा दिया … पर मुझे समझ नहीं आया कि दीदी चोद रही हैं या भैया चोदेंगे.

आपको आपनी चालू बहन के बारे में मैं इस सेक्स कहानी में पूरे विस्तार से लिख कर बताऊंगा. सेक्स कहानी के लिए आपके मेल का इन्तजार रहेगा.
[email protected]
कहानी जारी है.

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